Album Name | Lata Duets – The Golden Collection – Vol 3 |
Artist | Various Artists |
Track Name | Tere Pyar Ka Aasra Chahta Hoon |
Music | N. Dutta |
Label | Saregama |
Release Year | 1951 |
Duration | 06:46 |
Release Date | 1951-12-31 |
Tere Pyar Ka Aasra Chahta Hoon Lyrics
तेरे प्यार का आसरा चाहता हूँ
वफ़ा कर रहा हूँ वफ़ा चाहता हूँ
तेरे प्यार का आसरा चाहता हूँ
वफ़ा कर रहा हूँ वफ़ा चाहता हूँ
हसीनों से अहद-ए-वफ़ा चाहते हो
बड़े नासमझ हो ये क्या चाहते हो
हसीनो से अहद-ए-वफ़ा चाहते हो, बड़े नासमझ हो ये क्या चाहते हो
तेरे नर्म बालों में तारे सजा के
तेरे शोख कदमों में कलियां बिछा के
मोहब्बत का छोटा सा मन्दिर बना के
मोहब्बत का छोटा सा मन्दिर बना के, तुझे रात दिन पूजना चाहता हूँ
वफ़ा कर रहा हूँ वफ़ा चाहता हूँ
तेरे प्यार का
ज़रा सोच लो दिल लगाने से पहले, कि खोना भी पड़ता है पाने के पहले
इजाज़त तो ले लो ज़माने से पहले
इजाज़त तो ले लो ज़माने से पहले, कि तुम हुस्न को पूजना चाहते हो
बड़े नासमझ हो ये क्या चाहते हो
कहाँ तक जियें तेरी उल्फ़त के मारे
गुज़रती नहीं ज़िन्दगी बिन सहारे
बहुत हो चुके दूर रहकर इशारे
बहुत हो चुके दूर रहकर इशारे, तुझे पास से देखना चाहता हूँ
वफ़ा कर रहा हूँ वफ़ा चाहता हूँ
तेरे प्यार का
मोहब्बत की दुश्मन है सारी खुदाई
मोहब्बत की तक़दीर में है जुदाई
जो सुनते नहीं हैं दिलों की दुहाई
जो सुनते नहीं हैं दिलों की दुहाई, उन्हीं से मुझे माँगना चाहते हो
बड़े नासमझ हो ये क्या चाहते हो
दुपट्टे के कोने को मुँह में दबा के, ज़रा देख लो इस तरफ़ मुस्कुरा के
मुझे लूट लो मेरे नज़दीक आ के
मुझे लूट लो मेरे नज़दीक आ के, कि मैं मौत से खेलना चाहता हूँ
वफ़ा कर रहा हूँ वफ़ा चाहता हूँ
तेरे प्यार का
गलत सारे दावें गलत सारी कसमें, निभेंगी यहाँ कैसे उल्फ़त कि रस्में
यहाँ ज़िन्दगी है रिवाज़ों के बस में
यहाँ ज़िन्दगी है रिवाज़ों के बस में, रिवाज़ों को तुम तोड़ना चाहते हो
बड़े नासमझ हो ये क्या चाहते हो
रिवाज़ों की परवाह ना रस्मों का डर है
तेरी आँख के फ़ैसले पे नज़र है
रिवाज़ों की परवाह ना रस्मों का डर है, तेरी आँख के फ़ैसले पे नज़र है
बला से अगर रास्ता पुर्खतर है
बला से अगर रास्ता पुर्खतर है, मैं इस हाथ को थामना चाहता हूँ
वफ़ा कर रहा हूँ वफ़ा चाहता हूँ
तेरे प्यार का